Sidebar Ads

Mahashivratri 2022 Shubh Yog

 

2022 का Mahashivratri में Shubh Yog:  इस साल बनने जा रहा है महाशिवरात्रि पर शुभ संयोग जानें मुहूर्त और पूजा विधि 

2022 का Mahashivratri में Shubh Yog:  इस साल बनने जा रहा है महाशिवरात्रि पर शुभ संयोग जानें मुहूर्त और पूजा विधि
Mahashivratri 2022 hd images


महाशिवरात्रि का 2022 का शुभ योग

महाशिवरात्रि के दिन भगवान शिव की  आराधना पूजा की जाती है ऐसी मान्यता है कि स्टेट सच्चे मन से भक्ति और व्रत रखने पर लोगों के कष्ट दूर हो जाते हैं। और लोगों की सभी मनोकामनाएं पूर्ण हो जाती हैं।


2022 की महाशिवरात्रि का इस साल बनने जा रहा है शुभ संयोग जाने मुहूर्त और पूजा विधि।

इच्छा शक्ति को मजबूत करती है शिव की आराधना। फाल्गुन कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी तिथि में चन्द्रमा सूर्य के पास रहते हैं ।


2022 में महाशिवरात्रि का शुभ योग


महाशिवरात्रि हर साल फागुन माह के कृष्ण पक्ष में चतुर्दशी तिथि पर महा पर्व मनाया जाता है।

देवाधिवेद सबसे महत्वपूर्ण  महादेव के महाशिवरात्रि का पर्व है उनके दिव्य अवतरण का मंगल सूचक है। ज्योतिषी आचार्य डॉ विनोद बताते हैं। की महाशिवरात्रि का व्रत फागुन माह के कृष्ण पक्ष में चतुर्दशी तिथि पर मनाया जाता है। फाल्गुन कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी तिथि में चन्द्रमा सूर्य के समीप रहते हैं अर्धरात्रिव्यापिनी इस वर्ष ग्राह्य होने से 1 मार्च 2022 दिन मंगलवार को यह व्रत रखा जाएगा।

ज्योतिषी शास्त्रों के अनुसार महाशिवरात्रि इस साल फागुन माह के कृष्ण पक्ष में चतुर्दशी तिथि चंद्रमा सूर्य के पास रहते हैं। इसी समय चंद्रमा का सूर्य के योग मिलन रहता है ज्योतिषियों के अनुसार चतुर्दशी तिथि को चंद्रमा कमजोर स्थिति में रहता है चंद्रमा को शिवजी के मस्तक पर धारण किया हुआ है। शिवजी की पूजा करने से व्यक्ति का सवाल होता है। जो मन का कारक है यह कहना भी गलत नहीं होगा शिव की आराधना करना इच्छा शक्ति को मजबूत करती है

2022 का Mahashivratri में Shubh Yog:  इस साल बनने जा रहा है महाशिवरात्रि पर शुभ संयोग जानें मुहूर्त और पूजा विधि
Mahashivratri 2022 hd images


पूजा का मुहूर्त चारों पहर


महाशिवरात्रि पर शिव भगवान की चारों पहर की पूजा का विधान है ऐसा कहते हैं कि इस दिन शिव जी की चारों पहर की पूजा करने से सारी मनोकामनाएं पूरी हो जाती है। महाशिवरात्रि की पहले पहर की पूजा दिन मंगलवार को शाम 6:21से लेकर 6:27 बजे तक होगी फिर रात में 6:27 से 12:33 तक होगी। बुधवार को रात12:33 से 3:39 तक तीसरे पहर की पूजा होगी और लास्ट में 3:39 से 6:45 ताक पूजा चौथे पहर की होगी।

ज्योतिषी आचार्य  डॉक्टर विनोद ने कहा की इस दिन एक खास संयोग बन रहा है घनिष्ठ नक्षत्र में एक परिघ योग बना रहेगा और घनिष्ठ नक्षत्र के बाद शतशिषा नक्षत्र रहेगा। शिवयोग परिघ के बाद रहेगा। सूर्य चंद्र कुंभ राशि में रहेंगे इसीलिए इस चतुर्दशी को शिव की पूजा करने वालों को अभीष्टतम फल की प्राप्ति होगी। यह महाशिवरात्रि का व्रत व्रतराज के नाम से भी जाना जाता है। जो लोग महाशिवरात्रि में व्रत और महारूद्राभिषेक करता है उसे सायुज्य की प्राप्ति होगी।


शुभ मुहूर्त महाशिवरात्रि। Shubh muhurt Mahashivratri


महाशिवरात्रि मंगलवार मार्च 1, 2022 तक

काल पूजा समय। 12:08 am se 12:58 तक 2 मार्च

शिवरात्रि पारण समय। 6:45 am se 2 मार्च

पूजा विधि महाशिवरात्रि की

महाशिवरात्रि की पूजा विधि विधान से रात्रि काल में होती है भक्त लोग चारों पहर में से अपनी सुविधा अनुसार पूजा कर सकते हैं साथ में शिवरात्रि की रात को जागरण का भी विधान है। इस दिन मिट्टी के बर्तन या तांबे के लोटे में जल मिश्री कच्चा दूध डालकर शिवलिंग पर चढ़ाना चाहिए इसके बाद शिवलिंग पर बेलपत्र आंकड़े के फूल चावल आदि अर्पित करना चाहिए। इस दिन महामृत्युंजय मंत्र या पंचाक्षर मंत्र ॐ नमः शिवाय का मंत्र जाप करना चाहिए।

यह भी पढ़ें:

Tage:

Mahashivratri 2022 Shubh Yog 



एक टिप्पणी भेजें

0 टिप्पणियाँ